
Share Price Targets: सुजलॉन एनर्जी, आइनॉक्स विंड, टाटा पावर, बीएचईएल, आईईएक्स, एसजेवीएन, पावर ग्रिड, एनटीपीसी
अगर आप सुजलॉन एनर्जी, आइनॉक्स विंड, टाटा पावर, बीएचईएल, आईईएक्स, एसजेवीएन, पावर ग्रिड, एनटीपीसी सहित अन्य पावर और रिन्यूएबल स्टॉक का लेटेस्ट टारगेट प्राइस जानना चाहते हैं तो यह खबर आपके लिए है।

Stocks to BUY: अगर आप सुजलॉन एनर्जी, आइनॉक्स विंड, टाटा पावर, बीएचईएल, आईईएक्स, एसजेवीएन, पावर ग्रिड, एनटीपीसी सहित अन्य पावर और रिन्यूएबल स्टॉक का लेटेस्ट टारगेट प्राइस जानना चाहते हैं तो यह खबर आपके लिए है।
दरअसल ब्रोकरेज फर्म जेएम फाइनेंशियल (JM Financial) ने अपने लेटेस्ट रिपोर्ट में बताया कि कुल 46GW रिन्यूएबल एनर्जी (RE) प्रोजेक्ट वर्तमान में पावर पर्चेज एग्रीमेंट्स (PPA) पर साइनिंग का इंतजार कर रही हैं।
यह स्थिति इसलिए बनी है क्योंकि सरकार ने वित्त वर्ष 2024 से 2028 के बीच हर साल 50 GW रिन्यूएबल एनर्जी प्रोजेक्ट्स के लिए टेंडर (बोली) मंगाने के निर्देश दिए हैं। इस फैसले के बाद बोली लगाने वाले प्रोजेक्ट्स की संख्या तेजी से बढ़ गई है।
रिपोर्ट में कहा गया है कि वितरण कंपनियों (discoms) की बदलती मांग ने जटिलताओं को बढ़ाया है। पहले 2019 तक सिर्फ वैनिला सोलर और विंड प्रोजेक्ट की मांग थी, फिर 2022 में यह मांग फर्म और डिस्पैचेबल रिन्यूएबल एनर्जी (FDRE) और राउंड-द-क्लॉक (RTC) तक पहुंची, और अब सोलर के साथ बैटरी एनर्जी स्टोरेज सिस्टम्स (BESS) की मांग बढ़ी है।
निवेशकों के लिए क्या सलाह?
JM Financial ने सुजलोन एनर्जी और इनॉक्स विंड पर 'BUY' रेटिंग बरकरार रखी है और इनमें 42% तक की संभावित वृद्धि का अनुमान लगाया। इनॉक्स विंड का टारगेट ₹216 रखा गया है, जो 42% की वृद्धि का संकेत देता है। वहीं सुजलोन एनर्जी का टारगेट ₹81 है, जो 24% की वृद्धि का संकेत देता है।
पावर सेक्टर कंपनियों में, JM Financial ने टाटा पावर, JSW एनर्जी, NHPC, CESC, पावर ग्रिड और BHEL पर भी 'BUY' रेटिंग दी है। CESC और ACME सोलर का टारगेट भी 20% से अधिक की वृद्धि की संभावना दर्शाता है। टाटा पावर का टारगेट ₹436 है, जो 13% की वृद्धि का संकेत देता है, जबकि BHEL का टारगेट ₹281 है, जो 13% की वृद्धि की संभावना दिखाता है।
हालांकि, कोल इंडिया, टॉरेंट पावर, ACME सोलर और IEX पर 'HOLD' की सलाह दी गई है, जबकि SJVN पर 'SELL' कॉल दिया गया है।

जून तक देश में कुल 84 गीगावॉट (GW) की रिन्यूएबल एनर्जी (RE) परियोजनाएं बन रही थीं। इनमें 54 GW सोलर (सौर ऊर्जा), 17 GW विंड (पवन ऊर्जा) और 13 GW हाइब्रिड (सोलर और विंड का मिश्रण) प्रोजेक्ट शामिल थे।
इतनी बड़ी संख्या में प्रोजेक्ट पहले से ही पाइपलाइन में होने के कारण, बिजली वितरण कंपनियां (डिस्कॉम्स) नए प्रोजेक्ट के लिए पावर पर्चेज एग्रीमेंट (PPA) साइन करने में ज्यादा रुचि नहीं दिखा रही हैं।