Microsoft की चेतावनी! 2026 में ट्रांसलेटर, पत्रकार, वेब डेवलपर्स, सहित ये 40 नौकरियों छीन सकता है AI
टेक कंपनी माइक्रोसॉफ्ट ने एक चौंकाने वाली लिस्ट जारी की है, जिसमें 40 ऐसी नौकरियों का जिक्र है जिन्हें एआई से सबसे ज्यादा खतरा है। माइक्रोसॉफ्ट के रिसर्चर्स ने अपने 'को-पायलट' एआई चैटबॉट के साथ हुए 2 लाख से ज्यादा असली संवादों का गहराई से स्टडी किया।

साल 2026 की शुरुआत अब बस होने वाली है और आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस (AI) की बढ़ती ताकत ने इंसानी नौकरियों पर खतरे की घंटी बजा दी है। एआई अब सिर्फ फैक्ट्रियों तक सीमित नहीं रहा, बल्कि दफ्तरों के डेस्क तक पहुंच गया है। 'गॉडफादर ऑफ एआई' कहे जाने वाले जेफ्री हिंटन जैसे बड़े विशेषज्ञ भी अब यह डर जताने लगे हैं कि मशीनें इंसानी काम छीनने की काबिलियत हासिल कर रही हैं। इसी बीच, दिग्गज टेक कंपनी माइक्रोसॉफ्ट ने एक चौंकाने वाली लिस्ट जारी की है, जिसमें 40 ऐसी नौकरियों का जिक्र है जिन्हें एआई से सबसे ज्यादा खतरा है।
कैसे तैयार हुई यह लिस्ट?
माइक्रोसॉफ्ट के रिसर्चर्स ने अपने 'को-पायलट' एआई चैटबॉट के साथ हुए 2 लाख से ज्यादा असली संवादों का गहराई से स्टडी किया। इस रिसर्च का मकसद यह समझना था कि एआई वर्तमान में किन कामों को सबसे बेहतर तरीके से कर रहा है। शोधकर्ताओं ने हर पेशे को एक 'एआई स्कोर' दिया है, जो यह बताता है कि एआई उस काम की मुख्य जिम्मेदारियों को कितनी कुशलता से निभा सकता है।
इन नौकरियों पर मंडरा रहा है सबसे बड़ा खतरा
रिसर्च के मुताबिक, जिन कामों में भाषा, डेटा का विश्लेषण और बातचीत की मुख्य भूमिका है, वे सबसे ज्यादा जोखिम में हैं। इस लिस्ट में सबसे ऊपर अनुवादक (Translators) और दुभाषिए हैं।
इसके बाद इतिहासकारों, सेल्स प्रतिनिधियों और लेखकों का नंबर आता है। माइक्रोसॉफ्ट की रिपोर्ट बताती है कि कस्टमर सर्विस, टेलीफोन ऑपरेटर, ट्रैवल क्लर्क और यहां तक कि रेडियो डीजे और न्यूज एंकर की नौकरियों पर भी एआई का सीधा असर दिखने लगा है।
इस लिस्ट में पत्रकारों, गणितज्ञों, वेब डेवलपर्स, डेटा साइंटिस्ट और वित्तीय सलाहकारों को भी शामिल किया गया है। इन सभी पेशों में एक बात सामान्य है- ये सभी लिखने, समरी बनाने या डेटा को व्यवस्थित करने जैसे कामों पर निर्भर हैं, जिन्हें एआई अब इंसानों से तेज और कम लागत में कर पा रहा है।
क्या इंसान पूरी तरह हट जाएंगे?
हालांकि, माइक्रोसॉफ्ट ने एक राहत भरी बात भी कही है। रिसर्चर्स का मानना है कि एआई फिलहाल किसी भी पेशे को रातों-रात खत्म नहीं कर रहा है, बल्कि काम करने के तरीके को बदल रहा है। रिपोर्ट के अनुसार, भले ही पत्रकारिता, अनुवाद या ग्राहक सेवा में एआई का दखल बढ़ गया हो, लेकिन इंसानी विवेक, जवाबदेही और रचनात्मकता की जरूरत हमेशा बनी रहेगी। फिलहाल एआई इंसानों को पूरी तरह हटाने के बजाय उनके रोजमर्रा के काम के एक बड़े हिस्से को अपने हाथ में ले रहा है।

