800% रिटर्न देने वाला छुटकू स्टॉक फोकस में, कंपनी के बोर्ड ने लिया बड़ा फैसला
गुरुवार के ट्रेडिंग सेशन में विशाल फेब्रिक्स के शेयर फोकस में है। दरअसल, कंपनी ने 2.25 करोड़ वॉरंट को शेयर में बदल दिया है। इस फैसले से कंपनी ने 51 करोड़ रुपये जुटाए हैं।

कपड़े बनाने वाली कंपनी विशाल फेब्रिक्स (Vishal Fabrics Ltd) निवेशकों के फोकस में है। कंपनी ने बुधवार को बड़ा अपडेट दिया था। स्टॉक एक्सचेंज फाइलिंग के अनुसार कंपनी ने 2.25 करोड़ वॉरंट को शेयर में बदल दिया है। बता दें कि आज के ट्रेडिंग सेशन में कंपनी के शेयर ₹35.80 प्रति शेयर के भाव पर ट्रेड कर रहे हैं।
वॉरंट को शेयर में बदलने से कंपनी को 51.63 करोड़ रुपये की रकम मिली है। यह शेयर कुछ बड़े निवेशकों को दिए गए हैं, जो प्रमोटर नहीं हैं।
वॉरंट क्या होता है?
वॉरंट एक तरह का वादा होता है, जिसमें कोई निवेशक तय रकम देकर बाद में शेयर खरीद सकता है। Vishal Fabrics ने पहले कुछ निवेशकों को वॉरंट दिए थे और अब वे लोग उन वॉरंट को शेयर में बदल चुके हैं।
किसे मिले कितने शेयर?
कंपनी ने जिन निवेशकों को शेयर दिए हैं, वे तीन फंड हैं। Vikasa India EIF I Fund को1 करोड़ शेयर मिले हैं। इसी तरह Eminence Global Fund को 75 लाख शेयर और NEXPACT Limited को 50 लाख शेयर मिले हैं।
इन सबको ₹30.60 की कीमत पर एक शेयर दिया गया, जिसमें ₹5 फेस वैल्यू और ₹25.60 प्रीमियम शामिल है। इन तीनों निवेशकों से कंपनी को कुल 51.63 करोड़ रुपये मिले हैं। शुरुआत में उन्होंने शेयर की कुल कीमत का 25% हिस्सा यानी ₹7.65 पहले ही दे दिया था। अब बचे हुए 75% यानी ₹22.95 प्रति शेयर देकर उन्होंने पूरे शेयर खरीद लिए।
कंपनी के पास कितने शेयर?
अब कंपनी के पास टोटल 24.76 करोड़ शेयर हो गए हैं। हर एक स्टॉक का मूल्य ₹5 है। इसका मतलब है कि अब कंपनी की पेड-अप कैपिटल ₹123.80 करोड़ हो गई है।
शेयर की परफॉर्मेंस
विशान फेब्रिक्स के शेयर ने लंबे समय में 800 फीसदी का शानदार रिटर्न दिया है। हालांकि, यह स्टॉक पिछले काफी समय से गिरकर ट्रेड कर रहा है। पिछले एक महीने में स्टॉक में 3 फीसदी की गिरावट आई है। वहीं, एक साल में यह शेयर 12 फीसदी गिरा है। पांच साल में शेयर ने 38 फीसदी का नेगेटिव रिटर्न दिया है।
कंपनी के शेयर में विदेशी निवेशकों ने भी दिलचस्पी दिखाई है। मार्च 2025 में FII की हिस्सेदारी 3.25 फीसदी थी। वहीं जून 2025 में बढ़कर 10.9 फीसदी हो गई। इसी तरह जुलाई 2025 में विदेशी निवेशकों की हिस्सेदारी 17.05% हो गई।