Norwest और Motilal Oswal की मेगा डील, ₹1,465 करोड़ के इनवेस्टमेंट से IKF Finance में आया तूफान
हैदराबाद की नॉन-बैंकिंग कंपनी IKF Finance को उसकी अब तक की सबसे बड़ी फंडिंग मिली है। कंपनी में Norwest और Motilal Oswal ने निवेश किया है।

हैदराबाद की नॉन-बैंकिंग कंपनी IKF Finance को उसकी अब तक की सबसे बड़ी फंडिंग मिली है। कंपनी ने ₹1,465 करोड़ यानी करीब 175 मिलियन डॉलर जुटाए हैं। इस निवेश में सबसे बड़ा हिस्सा अमेरिका की ग्लोबल इन्वेस्टमेंट फर्म Norwest का रहा है। इसके साथ ही कंपनी के पुराने साथी Motilal Oswal Alternates ने भी दोबारा इनवेस्ट करके IKF पर भरोसा दिखाया है।
दो राउंड में हुआ फंडिंग
IKF के इस फंडिंग राउंड में दो तरह का पैसा शामिल है। पहले राउंड में प्राइमरी कैपिटल है जो सीधे कंपनी को मिलता है। वहीं, दूसरा सेकेंडरी कंपोनेंट है। इसमें कुछ मौजूदा निवेशकों ने अपनी हिस्सेदारी बेची है। इस फंडिंगमें Norwest ने अकेले ही 100 मिलियन डॉलर से ज्यादा का निवेश किया। वहीं, Motilal Oswal ने साल 2015 में IKF में निवेश किया था। अब मोतिलाल ने फिर से कंपनी में निवेश किया है।
कंपनी की मैनेजिंग डायरेक्टर के. वासुमति देवी ने बताया कि इस फंड का इस्तेमाल कंपनी अपने डिस्ट्रीब्यूशन नेटवर्क को मजबूत करने, नई टेक्नोलॉजी लाने और टीम को बेहतर बनाने में करेगी। कंपनी का गोल है कि वह ऐसे लोगों तक भी फाइनेंस की सुविधा पहुंचे, जिन्हें आज तक बैंक लोन नहीं मिल पाया है।
इस फंडिंग को लेकरNorwest की तरफ से निखिल कुकाडा ने कहा कि IKF Finance की अब तक की ग्रोथ उसका भरोसेमंद काम देखकर कंपनी ने निवेश किया है।
IKF Finance को इस फंडिंग डील में Moelis & Company और Unitus Capital ने फाइनेंशियल सलाह दी। वहीं, Cyril Amarchand Mangaldas ने IKF और Motilal Oswal ने लीगल हेल्प की। Shardul Amarchand Mangaldas ने Norwest की ओर से इस डील को लीड किया गया।
कंपनी में किसकी कितनी हिस्सेदारी है?
IKF Finance में सबसे बड़ी हिस्सेदारी प्रमोटर्स के पास है। प्रमोटर्स के पास कंपनी की 42.84% हिस्सेदारी है। इसके अलावा Motilal Oswal के दो फंड्स India Business Excellence Fund II और IIA मिलकर करीब 30% हिस्सेदारी रखते हैं। विदेशी फंड जैसे Accion और Teachers Insurance and Annuity Association of America के पास भी लगभग 8-8% की हिस्सेदारी है।
IKF Finance के बारे में
IKF Finance की शुरुआत 1991 में वी.जी.के. प्रसाद ने की थी। ये कंपनी उन लोगों तक लोन पहुंचाती है जिन्हें बैंक से कर्ज नहीं मिल पाता। IKF की सर्विसेज खासकर पुरानी कमर्शियल गाड़ियों के लिए लोन और छोटे कारोबारियों (MSMEs) के लिए फाइनेंस मुहैया कराने पर फोकस करती हैं। इसके साथ ही इसकी सहायक कंपनी IKF Home Finance सस्ती दरों पर होम लोन और प्रॉपर्टी के बदले लोन देती है।