इक्विटी, गोल्ड या सिल्वर में निवेश को लेकर उलझन है? ये म्यूचुअल फंड हो सकता है अच्छा ऑप्शन
आगर आपको भी यह समझ नहीं आ रहा है कि इक्विटी, गोल्ड या सिल्वर में से कहां निवेश करें तो यह खबर आपके लिए है। पूरी डिटेल यहां

Benefits of Multi Asset Mutual Funds: तेजी से बदलते बाजार परिवेश में निवेशक अब ऐसे विकल्पों की तलाश में हैं जो न केवल डायवर्सिफिकेशन दें बल्कि जोखिम को भी बैलेंस करें। आगर आपको भी यह समझ नहीं आ रहा है कि इक्विटी, गोल्ड या सिल्वर में से कहां निवेश करें तो इस स्थिति में मल्टी एसेट म्यूचुअल फंड्स (Multi Asset Mutual Fund) एक अच्छा ऑप्शन साबित हो सकता है।
ये फंड इक्विटी, डेट, सिल्वर और गोल्ड जैसे विभिन्न एसेट क्लास में एक साथ निवेश करते हैं, जिससे पोर्टफोलियो में संतुलन बना रहता है।
वित्तीय सलाहकारों के अनुसार, मल्टी एसेट फंड उन निवेशकों के लिए सही है जो न तो पूरी तरह इक्विटी में जोखिम लेना चाहते हैं और न ही केवल फिक्स्ड इनकम विकल्पों तक सीमित रहना चाहते हैं।
ये फंड बाजार की स्थिति के अनुसार विभिन्न एसेट क्लास में एलोकेशन को एडजस्ट करते हैं जिससे रिटर्न और जोखिम का बेहतर संतुलन प्राप्त होता है।
इन फंडों की खासियत यह है कि अस्थिर बाजारों में भी पोर्टफोलियो में स्थिरता बनी रहती है। जब एक एसेट क्लास कमजोर होता है, तो दूसरा उसकी भरपाई करता है, जिससे ओवरऑल प्रदर्शन पर बड़ा असर नहीं पड़ता।
इन फंड्स का एक लाभ यह भी है कि निवेशक को खुद अलग-अलग एसेट क्लास में निवेश करने की जरूरत नहीं पड़ती। फंड मैनेजर बाजार के रुझानों के आधार पर अलोकेशन को कैटेगराइज करते हैं। इससे निवेशक समय और रिसर्च की झंझट से बचते हैं।
हालांकि, निवेश से पहले फंड के पोर्टफोलियो स्ट्रक्चर, शुल्क (expense ratio) और फंड मैनेजर के ट्रैक रिकॉर्ड को देखना भी जरूरी है। सभी मल्टी एसेट फंड एक जैसे नहीं होते- कुछ फंड में इक्विटी का वेटेज ज्यादा होता है, तो कुछ में डेट का।
कुल मिलाकर, मल्टी एसेट फंड्स उन निवेशकों के लिए उपयुक्त हैं जो स्थिर लेकिन संतुलित रिटर्न चाहते हैं और लंबी अवधि में विविध एसेट क्लास का लाभ उठाना चाहते हैं।