
BT Bazaar Exclusive: महंगाई रोकने के लिए मोदी सरकार का मेगा प्लान
सरकार ने महंगाई पर अकुंश लगाने के लिए कई कदम उठाए हैं। खाद्य जमाखोरों पर कार्रवाई से कीमतें कम होती रहेंगी। 2022 में गेहूं के निर्यात पर प्रतिबंध के बाद, सरकार ने पिछले महीने चावल की कुछ किस्मों के शिपमेंट पर भी रोक लगा दी है। साथ ही, कुछ खाद्य पदार्थों के भंडारण पर भी प्रतिबंध लगा दिया है। प्रधानमंत्री Narendra Modi आने वाले हफ्तों में पेट्रोल की बिक्री पर टैक्स कम करने, खाद्य तेल और गेहूं पर आयात शुल्क कम करने जैसे बड़े फैसले ले सकते हैं।

भारत के 2024 आम चुनाव को लेकर तैयारी अभी से ही शुरू हो चुकी है। आम चुनाव से पहले सरकार ने महंगाई को रोकने के लिए एक मेगा प्लैन बनाया है। सबसे बड़ा प्लैन महंगाई को रोकना है। इस वक्त देश में कई चीजे के दाम आसमान को छू रही है, तो वही पर महंगाई के कारण राजनितिक गलियारों में चर्चा का विषय बनने के साथ आम लोग भी परेशान है। केंद्र सरकार आम चुनाव से पहले महंगाई नियंत्रित करने के लिए एक्शन में आ गई है।
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सूत्रों के मुताबिक प्रधानमंत्री Narendra Modi आने वाले हफ्तों में पेट्रोल की बिक्री पर टैक्स कम करने, खाद्य तेल और गेहूं पर आयात शुल्क कम करने जैसे बड़े फैसले ले सकते हैं। इतना ही नहीं, केंद्र सरकार के अधिकारी खाद्य और ईंधन की लागत में वृद्धि को रोकने के लिए विभिन्न मंत्रालयों के बजट से करीब एक लाख करोड़ रुपए को फिर से आवंटित करने की योजना पर काम कर रहे हैं। मामले से जुड़े अधिकारी के मुताबिक यह फंड कुल बजट का करीब 2% है। इसका इस्तेमाल गरीबों के लिए सस्ता कर्ज और घर उपलब्ध कराने में किया जा सकता है। इस हफ्ते प्रधानमंत्री मोदी ने 77वें स्वतंत्रता दिवस के मौके पर राष्ट्र के नाम दिए भाषण में 15 महीने के उच्चतम स्तर पर पहुंची महंगाई से लड़ने का ऐलान किया है। एक अन्य अधिकारी ने कहा कि देश के कई हिस्सों में असामान्य बारिश और बाढ़ के कारण कई घरेलू वस्तुओं की कीमतों में वृद्धि हुई है, जिसमें टमाटर और प्याज जैसी प्रमुख खाद्य सामग्री शामिल है।

सरकार ने महंगाई पर अकुंश लगाने के लिए कई कदम उठाए हैं। खाद्य जमाखोरों पर कार्रवाई से कीमतें कम होती रहेंगी। 2022 में गेहूं के निर्यात पर प्रतिबंध के बाद, सरकार ने पिछले महीने चावल की कुछ किस्मों के शिपमेंट पर भी रोक लगा दी है। साथ ही, कुछ खाद्य पदार्थों के भंडारण पर भी प्रतिबंध लगा दिया है। सरकार Russia से सस्ती दरों पर गेहूं खरीदने पर बातचीत कर रही है। दरअसल सीमित आपूर्ति के कारण देश में थोक गेहूं की कीमत दो महीनों में 10% तक बढ़ गई है। भारत को 30 से 40 लाख मीट्रिक टन गेहूं की जरूरत है, पर सरकार दाम पर ज्यादा नियंत्रण रखने के लिए 80 से 90 लाख मीट्रिक टन खरीदी कर सकती है।
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इससे पहले भारत ने 2017 में 53 लाख मीट्रिक टन गेहूं आयात किया था। इससे गरीबों पर महंगाई के असर का कम करने में मदद मिल सकती है। एक अधिकारी ने बताया कि रूस ने बाजार की मौजूदा कीमतों पर छूट देने की पेशकश की है। ₹2,076 से ₹3,322 प्रति टन डिस्काउंटेड प्राइस पर भारत गेहूं खरीद सकता है। देश के 16 राज्यों में पेट्रोल 100 रुपए प्रति लीटर के ऊपर है। मध्य प्रदेश, आंध्र प्रदेश, बिहार, महाराष्ट्र, कर्नाटक, मणिपुर, तेलंगाना, पंजाब, झारखंड, सिक्किम, ओडिशा, केरल, तमिलनाडु, पश्चिम बंगाल, छत्तीसगढ़ और राजस्थान के सभी जिलों में पेट्रोल 100 रुपए के ऊपर बिक रहा है। वहीं डीजल भी ओडिशा, राजस्थान और मध्य प्रदेश में 100 रुपए से ऊपर है।
