
Tata Motors को मिलेगा 765 करोड़ रूपये का मुआवजा
रतन टाटा ने साल 2008 में देश के मध्यम वर्ग को ध्यान में रखते हुए अपनी ड्रीम कार टाटा नैनो लॉन्च की थी। ये भारतीय कार इतिहास की अब तक की सबसे सस्ती कारों में से एक है। रतन टाटा ने इसे 1 लाख रुपए की कीमत में लॉन्च किया था। हालांकि लोगों को ये कार ज्यादा पसंद नहीं आई और साल 2020 में इसका प्रोडक्शन बंद करना पड़ा। कोर्ट के इस फैसले का असर स्टॉक पर भी देखने को मिल रहा है। शेयर में ठीक ठाक तेजी देखने को मिल रही है।

आपको साल 2006 में ले चलते हैं। जब Ratan Tata अपने ड्रीम प्रोजेक्ट पर काम कर रहे थे। रतन टाटा देश में सबसे सस्ती कार Nano मात्र 1 लाख रुपये में बनाकर बेचना चाहते थे। जिसके लिए प्लांट तलाश रहे थे। क्योंकि वो उस वक्त Tata Group के चेयरमैन भी थे, इस नाते रतन टाटा ने तत्कालिन मुख्यमंत्री Buddhadeb Bhattacharjee के साथ मीटिंग की और पश्चिम बंगाल के Singur में प्लांट लगाने का एलान किया गया। प्रोजेक्ट के लिए जरूरी 1 हजार एकड़ जमीन की खरीद की प्रोसेस शुरू हुई और Tata Motors ने सिंगूर में करीब 1,000 करोड़ रुपये से ज्यादा का निवेश कर दिया। लेकिन Mamata Banerjee ने इस प्रोजेक्ट के खिलाफ मोर्चा खोल दिया। उनका कहना है था कि इस प्रोजेक्ट से जबरन किसानों की जमीनों को हतियाया जा रहा है। जिसके बाद तृणमूल कांग्रेस यानि ममता बनर्जी की पार्टी ने पश्चिम बंगाल विधानसभा में बड़ा हंगामा किया। तमाम कंट्रोवर्सी के बीच साल 2008 में टाटा मोटर्स ने जमीन विवाद के चलते अपने म्युफैचरिंग प्लांट को पश्चिम बंगाल के सिंगूर से गुजरात के साणंद में ट्रांसफर कर दिया। हालांकि, उस समय तक टाटा मोटर्स सिंगूर में 1,000 करोड़ रुपये से ज्यादा का निवेश कर चुकी थी। जमीन विवाद होने के चलते टाटा मोटर्स को यहां से अपना प्लांट गुजरात शिफ्ट करना पड़ा था।
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अपने नुकसान की भरपाई के लिए टाटा मोटर्स ने कोर्ट का दरवाजा खटखटाया और अब जाकर इस पर फैसला आया है। जिसमें देश के दिग्गज बिजनेसमैन रतन टाटा की बड़ी जीत हुई है। साथ ही इस जीत से वेस्ट बंगाल की सरकार ममता बनर्जी को तगड़ा झटका भी लगा है। दरअसल, सिंगूर विवाद में जीत के बाद अब बंगाल सरकार टाटा मोटर्स को 766 करोड़ रुपये का मुआवजा देना होगा। सिंगूर मैन्युफैक्चरिंग प्लांट में नुकसान की भरपाई के लिए बंगाल सरकार टाटा मोटर्स को 766 करोड़ रुपये का मुआवजा देगी। मुआवजा देने का निर्देश पश्चिम बंगाल औद्योगिक विकास निगम को दिया गया है। फैसले के मुताबिक, कंपनी, पश्चिम बंगाल औद्योगिक विकास निगम लिमिटेड से 765 करोड़ 78 लाख रुपये की राशि 11% एनुअल इंटरेस्ट के साथ वसूलने की हकदार है। ब्याज का कैलकुलेशन एक सितंबर, 2016 से मुआवजा चुकाने की तारीख तक हुआ है। रतन टाटा ने साल 2008 में देश के मध्यम वर्ग को ध्यान में रखते हुए अपनी ड्रीम कार टाटा नैनो लॉन्च की थी। ये भारतीय कार इतिहास की अब तक की सबसे सस्ती कारों में से एक है। रतन टाटा ने इसे 1 लाख रुपए की कीमत में लॉन्च किया था। हालांकि लोगों को ये कार ज्यादा पसंद नहीं आई और साल 2020 में इसका प्रोडक्शन बंद करना पड़ा। कोर्ट के इस फैसले का असर स्टॉक पर भी देखने को मिल रहा है। शेयर में ठीक ठाक तेजी देखने को मिल रही है।
