ITR Filing: अगर रिफंड में हो रही है देरी, तो अपनाए यह आसान तरीका !
FY23-24 के लिए Income Tax Return (ITR) दाखिल करने के लिए आख़िरी तारीख़ 31 जुलाई है। जबकि कई करदाताओं ने अपना रिटर्न पहले ही दाखिल कर दिया होगा, कुछ को अपने रिफंड प्राप्त करने में देरी का अनुभव हो सकता है।

वित्त वर्ष 2023-24 के लिए आज यानी 31 जुलाई इनकम टैक्स रिटर्न फाइल करने का आखिरी दिन है। ऐसे में अगर आपने अब तक ITR फाइल नहीं किया है तो आज ही कर दें। क्योंकि ऐसा न करने पर आपको 5 हजार रुपए तक का जुर्माना देना पड़ सकता है। कई टैक्स एक्सपर्ट्स के मुताबिक समय रहते ITR फाइल करने से न केवल पेनल्टी से बचाव होता है, बल्कि इसके कई और फायदे भी हैं।
Income Tax Return
FY23-24 के लिए Income Tax Return (ITR) दाखिल करने के लिए आख़िरी तारीख़ 31 जुलाई है। जबकि कई करदाताओं ने अपना रिटर्न पहले ही दाखिल कर दिया होगा, कुछ को अपने रिफंड प्राप्त करने में देरी का अनुभव हो सकता है। इन देरी में कई कारक योगदान दे सकते हैं, जिनमें शामिल हैं:
1. Invalid bank account Details: Tax Markets के कई प्रमुख के अनुसार रिफंड में देरी का सबसे आम कारण टैक्स पोर्टल में प्रदान किए गए बैंक खाते के विवरण का अमान्य होना है। यदि रिफंड से जुड़ा बैंक खाता गलत या निष्क्रिय है, तो रिफंड प्रक्रिया रुक सकती है।
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2. Incorrect tax return details: टैक्स रिटर्न में ग़लतियाँ, जैसे गलत पर्सनल या फाइनेंशियल जानकारी बन सकती है देरी का कारण।
3. Foreign tax credit के साथ समस्या: विदेशी कर क्रेडिट का दावा करने वाले Taxpayers को Form 67 सही और समय पर दाखिल करना होगा। ऐसा न करने या फॉर्म में गलत जानकारी देने से देरी हो सकती है।
4. Incorrect income clubbing: जीवनसाथी या नाबालिग की आय को करदाता की आय के साथ गलत तरीके से जोड़ने से ग़लतियाँ हो सकती हैं। यहां तक कि Tax Deducted at Source (TDS) क्रेडिट ट्रांसफ़र किया जाता है, तो भी ऐसी ग़लतियाँ रिफंड प्रक्रिया को प्रभावित कर सकती हैं।
5. Form 26AS या AIS के साथ बेमेल: दावा किया गया TDS कटौती Form 26AS या Annual Information Statement (AIS) में दिए गए विवरण से मेल खाना चाहिए। इन दस्तावेज़ों और रिटर्न में दी गई जानकारी के बीच किसी भी गलती के कारण देरी हो सकती है।
बढ़ी हुई जांच और स्वचालित प्रक्रियाएं: सहगल के अनुसार, आयकर विभाग ने प्रक्रिया को स्वचालित करने के लिए AI टूल का उपयोग करके रिटर्न की जांच बढ़ा दी है। जैसा कि सहगल कहते हैं, इस उन्नत समीक्षा के कारण छोटी-मोटी त्रुटियां भी देरी का कारण बन सकती हैं।
1. Refund देरी को कम करने और रिफंड प्रक्रिया सुनिश्चित करने के लिए, Taxpayers को यह करना चाहिए:
2. Return accuracy की दोबारा जांच करें: सुनिश्चित करें कि ITR में दी गई सभी जानकारी accurate और up-to-date है।
3. ग़लतियों से बचने के लिए व्यक्तिगत और वित्तीय विवरण की दोबारा जांच करें।
4. बैंक खाता विवरण सत्यापित करें: पुष्टि करें कि कर पोर्टल पर पंजीकृत बैंक खाता विवरण सही और active हैं।
5. रिफंड की स्थिति ट्रैक करें: कर विभाग के पोर्टल के माध्यम से रिफंड की स्थिति की ऑनलाइन निगरानी करें। यदि धनवापसी अस्वीकार कर दी जाती है, तो धनवापसी पुनः जारी करने के लिए आवेदन करें।
6. त्रुटियों को तुरंत दूर करें: किसी भी त्रुटि या विसंगति की पहचान होने पर, रिफंड प्रक्रिया में तेजी लाने के लिए उन्हें जल्द से जल्द संबोधित करना चाहिए।