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कैसा होना चाहिए आपका पहला म्यूचुअल फंड? शुरुआती निवेशकों को उलझाते हैं ये 5 सवाल- जान लीजिए जवाब

इंवेस्टमेंट की शुरुआत करने वाले निवेशकों के लिए पहला कदम हमेशा सबसे मुश्किल होता है। उनके लिए यह समझना कि कौन-सी फंड कैटेगरी सही है, कितना जोखिम लेना चाहिए और SIP बेहतर है या लंपसम, नए निवेशकों के लिए बड़ी दुविधा का कारण बन जाता है। चलिए डिटेल में जानते हैं कि शुरुआती निवेशकों को किन पांच सवाल सबसे अधिक परेशान करते हैं।

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Mutual Funds: अगर आप भी पहली बार म्यूचुअल फंड में निवेश करने की योजना बना रहे हैं तो आपके लिए यह खबर काफी मददगार साबित हो सकती है। इस आर्टिकल में हम आपको ऐसे पांच सवालों का जवाब देंगे जो शुरुआती निवेशकों के मन में आते हैं। 

दरअसल इंवेस्टमेंट की शुरुआत करने वाले निवेशकों के लिए पहला कदम हमेशा सबसे मुश्किल होता है। उनके लिए यह समझना कि कौन-सी फंड कैटेगरी सही है, कितना जोखिम लेना चाहिए और SIP बेहतर है या लंपसम, नए निवेशकों के लिए बड़ी दुविधा का कारण बन जाता है। चलिए डिटेल में जानते हैं कि शुरुआती निवेशकों को किन पांच सवाल सबसे अधिक परेशान करते हैं।

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1. जोखिम कितना लेना चाहिए?

नए निवेशकों का पहला सवाल यही होता है कि शुरुआत में कितना जोखिम लेना चाहिए। म्यूचुअल फंड में जोखिम का स्तर पूरी तरह इस बात पर निर्भर करता है कि निवेशक किस उद्देश्य से निवेश कर रहा है और कितने समय के लिए कर रहा है।

शुरुआती लोगों के लिए एक्सपर्ट अकसर यह सलाह देते हैं कि वे ऐसे फंड चुनें जिनमें उतार-चढ़ाव कम हो और निवेश का एक्सपीरियंस अच्छा रहे। बहुत अधिक जोखिम वाले स्मॉल कैप या थीमेटिक फंड शुरुआत में लोगों को निराश कर सकते हैं क्योंकि इनमें तेजी से गिरावट और उछाल देखने को मिलता है। इसलिए पहले कदम के रूप में स्थिर और भरोसेमंद कैटेगरीज ज्यादा बेहतर साबित होती है।

2. कौन-सी फंड कैटेगरी शुरुआत के लिए सही?

फंड कैटेगरी चुनना नए निवेशकों की दूसरी सबसे बड़ी चुनौती है। एक्सपर्ट की मानें तो शुरुआती निवेशकों के लिए लार्ज कैप फंड, इंडेक्स फंड और फ्लेक्सी कैप फंड सबसे सुरक्षित और बैलेंस ऑप्शन माना जाता है।

लार्ज कैप फंड बड़ी और स्थापित कंपनियों में निवेश करते हैं, जिससे जोखिम कम हो जाता है। वहीं इंडेक्स फंड उन निवेशकों के लिए आसान होते हैं जो बाजार को मात देने की बजाय बाजार की औसत चाल के साथ चलना पसंद करते हैं। इसके अलावा फ्लेक्सी कैप फंड में फंड मैनेजर को लचीलापन मिलता है कि वह बाजार की स्थिति के अनुसार निवेश को बदल सकते हैं।

3. कितने समय के लिए निवेश करना सही?

निवेश की समयावधि म्यूचुअल फंड को चुनने में बेहद महत्वपूर्ण भूमिका निभाती है। अगर निवेशक 5 साल या उससे अधिक की अवधि के लिए निवेश कर रहा है, तो इक्विटी फंड बेहतर रिटर्न दे सकते हैं और बाजार के उतार-चढ़ाव का असर भी एवरेज हो जाता है।

वहीं छोटी अवधि के निवेश के लिए इक्विटी फंड सही नहीं माने जाते, क्योंकि कुछ महीनों या 1-2 साल की अवधि में बाजार में अचानक गिरावट निवेशक को नुकसान में डाल सकती है। शुरुआती निवेशकों के लिए अच्छा यही रहता है कि वो लंबी अवधि के साथ निवेश शुरू करें।

4. SIP करें या LumpSum? 

शुरुआत करने वालों के लिए SIP यानी सिस्टमेटिक इन्वेस्टमेंट प्लान एक समझदारी भरा विकल्प माना जाता है। SIP निवेशक को हर महीने छोटी रकम से शुरुआत करने का मौका देता है और मार्केट टाइमिंग की जरूरत खत्म हो जाती है।

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SIP के जरिए धीरे-धीरे पैसा निवेश करने से कीमतें औसत होती रहती हैं और बाजार में उतार-चढ़ाव का असर कम हो जाता है। लंपसम तभी बेहतर माना जाता है जब बाजार स्थिर हो या गिरावट पर हो, और निवेशक के पास एक साथ बड़ी रकम उपलब्ध हो।

5. पहला फंड चुनते समय किन बातों का रखें ध्यान?

म्यूचुअल फंड चुनते समय निवेशक को फंड का एक्सपेंस रेशियो, पिछले 5 साल का ट्रैक रिकॉर्ड, AUM का आकार और AMC की साख जैसी बातों पर विशेष ध्यान देना चाहिए।

कम खर्च का मतलब अधिक रिटर्न और विश्वसनीय AMC का मतलब बेहतर हैंडलिंग। वहीं बहुत ज्यादा या बहुत कम AUM वाले फंड्स से शुरुआत करने से बचना चाहिए, ताकि स्थिरता बनी रहे।

Disclaimer: म्यूचुअल फंड्स निवेश बाज़ार जोखिमों के अधीन है। ये आर्टिकल सिर्फ जानकारी के लिए है और इसे किसी भी तरह से इंवेस्टमेंट सलाह के रूप में नहीं माना जाना चाहिए। BT Bazaar अपने पाठकों और दर्शकों को पैसों से जुड़ा कोई भी फैसला लेने से पहले अपने वित्तीय सलाहकारों से सलाह लेने का सुझाव देता है।