Canada Raw: 'खालिस्तानियों के हाथ में खेल रहे ट्रूडो, अमेरिका और दुनिया रहे सावधान'
रुबिन ने कहा, ऐसा लगता है कि कुछ बाहरी हाथ खालिस्तान आंदोलन को पुनर्जीवित करने की कोशिश कर रहे हैं। मुझे नहीं लगता कि यह काम करेगा। उन्होंने कहा, वह नहीं चाहेंगे कि अमेरिका बाहरी शक्तियों द्वारा निंदनीय चालों को वैधता दे।

कनाडा के पीएम Justin Trudeau खालिस्तानियों के हाथ में खेल रहे हैं। यह दावा एक अमेरिकी विशेषज्ञ ने किया है। अमेरिकी विशेषज्ञ ने कनाडा के प्रधानमंत्री जस्टिन ट्रूडो के भारत सरकार के एजेंटों और खालिस्तानी नेता की हत्या के बीच संभावित संबंध के दावे को शर्मनाक और निंदनीय कार्रवाई करार दिया है और अमेरिका से इसका हिस्सा नहीं बनने की अपील की है। हडसन इंस्टीट्यूट थिंक-टैंक में एक पैनल चर्चा में भाग लेते हुए, अमेरिकन एंटरप्राइज इंस्टीट्यूट के वरिष्ठ फेलो माइकल रुबिन ने दावा किया कि ट्रूडो उन लोगों के हाथों में खेल रहे हैं जो खालिस्तानी आंदोलन को अहंकार और लाभ के रूप में देख रहे हैं।
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रुबिन ने कहा, ट्रूडो की शर्मनाक और निंदनीय कार्रवाई के बारे में चौंकाने वाली बात यह है कि वह इसे लेकर तो बयान दे रहे हैं, लेकिन कथित तौर पर पाकिस्तानी सहायता से की गई करीमा बलूच की हत्या के मामले में चुप हैं।ट्रूडो के इस रूख से लंबी अवधि में उन्हें राजनीतिक मदद मिल सकती है। लेकिन इसे सही नेतृत्व नहीं कहा जा सकता। कनाडा में अधिक जिम्मेदार राजनेताओं की जरूरत है, क्योंकि वे आग से खेल रहे हैं।
रुबिन ने कहा, ऐसा लगता है कि कुछ बाहरी हाथ खालिस्तान आंदोलन को पुनर्जीवित करने की कोशिश कर रहे हैं। मुझे नहीं लगता कि यह काम करेगा। उन्होंने कहा, वह नहीं चाहेंगे कि अमेरिका बाहरी शक्तियों द्वारा निंदनीय चालों को वैधता दे। सिख ऑफ अमेरिका के संस्थापक और अध्यक्ष जस्सी सिंह ने कहा कि खालिस्तानी आंदोलन अमेरिका में बहुसंख्यक सिखों की आवाज का प्रतिनिधित्व नहीं करता है। उन्होंने कहा, भारत में सिख खालिस्तान का समर्थन नहीं करते। आज भारतीय सेना में सिख हैं, जो राष्ट्र की रक्षा कर रहे हैं, चाहें वह चीन के खिलाफ हो या पाकिस्तान के उन्होंने कहा, अमेरिका में दस लाख सिख रहते हैं और उनमें से केवल कुछ ही, बहुत ही कम प्रतिशत, खालिस्तान की मांग को लेकर विरोध प्रदर्शनों में शामिल होते हैं।
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