Anil Amabni के हाथ से गई Reliance Capital, फरवरी के अंत में मिल जाएगा नया मालिक
न्यूज एजेंसी पीटीआई के अनुसार इंडसइंड इंटरनेशनल होल्डिंग्स लिमिटेड (IIHL) के 26 फरवरी 2025 तक रिलायंस कैपिटल को टेकओवर करने का रास्ता साफ कर दिया। अब रिलायंस कैपिटल का नया मालिक हिंदुजा ग्रुप (Hinduja Group) रहेगा।

मुकेश अंबानी (Mukesh Ambani) के भाई अनिल अंबानी (Anil Ambani) की कंपनी रिलायंस कैपिटल को लेकर बड़ा अपडेट आया है। काफी समय से रिलायंस कैपिटल के बिकने की खबर आ रही थी। अब कंपनी की बिक्री का रास्ता पूरी तरह से साफ हो गया है। फरवरी के आखिरी तक रिलायंस कैपिटल को नया मालिक मिल जाएगा। राष्ट्रीय कंपनी विधि न्यायाधिकरण (NCLT) ने रिलायंस कैपिटल को टेकओवर करने के लिए आईआईएचएल (IIHL) के प्रपोजल को एक्सेप्ट कर लिया।
Hinduja Group होगा नया मालिक
न्यूज एजेंसी पीटीआई के अनुसार इंडसइंड इंटरनेशनल होल्डिंग्स लिमिटेड (IIHL) के 26 फरवरी 2025 तक रिलायंस कैपिटल को टेकओवर करने का रास्ता साफ कर दिया। अब रिलायंस कैपिटल का नया मालिक हिंदुजा ग्रुप (Hinduja Group) रहेगा। काफी समय से अनिल अंबानी की इस कंपनी की बिक्री को लेकर काफी चर्चा हो रही थी। अब टेकओवर के बाद बार्कलेज (Barclays) और 360 वन (360 One) आदि कंपनियों की परेशानी खत्म हो गई।
इतनी राशि में टेकओवर होगी कंपनी
हिंदुजा ग्रुप की कंपनी IIHL ने बताया कि वह रिलायंस कैपिटल को टोटल 9,861 करोड़ रुपये में टेकओवर करेगा। कंपनी ने पिछले साल अगस्त में 2,750 करोड़ रुपये जमा कराए थे। इसके अलावा IIHL ने एस्क्रो खाते (Escrow Account) 3,000 करोड़ रुपये रखें हैं। अभी तक IIHL ने 58.93 फीसदी राशि का भुगतान कर लिया और बाकी बचे 4,300 रुपये का भुगतान जल्द ही करेगा।
मीडिया रिपोर्ट्स के अनुसार जल्द ही रिलायंस कैपिटल की अहम बैठक होने वाली है। इस बैठक में क्लोजर तारीख को लेकर फैसला लिया जाएगा। आपको बता दें कि अप्रैल 2023 में दिवाला एवं दिवालियापन संहिता (IBC) की कॉर्पोरेट दिवाला समाधान प्रक्रिया (CIRP) के तहत IIHL ने 9,650 करोड़ रुपये की बोली लगाई थी।
कर्ज में डूबी है अनिल अंबानी की कंपनी
रिलायंस कैपिटल को लेकर भारतीय रिजर्व ने नवंबर 2021 में बड़ा अपडेट दिया। बैंक ने बताया कि शासन के मुद्दों और पेमेंट न करने के आरोपों के कारण कंपनी के बोर्ड को भंग कर दिया गया। रिलायंस कैपिटल 40,000 करोड़ रुपये से ज्यादा के कर्ज में डूबी हुई थी। इसके बाद कंपनी की दिवालिया प्रक्रिया शुरू हो गई।
डिस्क्लेमर: यह जानकारी केवल सूचना के उद्देश्यों के लिए है और इसे निवेश सलाह के रूप में नहीं समझा जाना चाहिए। निवेश निर्णय लेने से पहले एक वित्तीय सलाहकार से परामर्श करने की सिफारिश की जाती है।