CollectiPhi-360 : फाय कॉमर्स ने लॉन्च किया कलेक्टीफी-360

बैंक और एनबीएफसी ज्यादातर मौकों पर कलेक्शन के तरीकों (डिजिटल, कैश और एजेंट से सहायता प्राप्त) और चैनल (फील्ड एजेंट, ऑनलाइन और शाखाओं) के मिक्‍स पर निर्भर रहते हैं या भरोसा करते हैं। अलग अलग हिस्‍सों में होने वाली इस प्रक्रिया में पारंपरिक तरीके से फाइनेंशियल डेटा, ट्रांजेक्शन, या अकाउंट बैलेंस वेरिफाई किया जाता है, वहीं फंड सेटलमेंट में देरी होती है, जिसके चलते अक्सर परिचालन लागत बढ़ जाती है। इसके अलावा, पर्याप्त फंड न होने या टेक्निकल एरर के कारण पेमेंट फेल होने से लेंडर्स पर दबाव बढ़ता है, विशेष रूप से उन क्षेत्रों में जहां बैंकिंग की पहुंच बहुत कम है। जिसके चलते प्रक्रिया में देरी होती है और रेवेन्‍यू का भी नुकसान उठाना पड़ता है।

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Prior to this round, the company received investments from Sanjay and Falguni Nayar, Fasanara Capital, and other prominent family offices.
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By BT बाज़ार डेस्क:

डिजिटल पेमेंट्स फिनटेक फाय  कॉमर्स (Phi Commerce) ने एक नया डेट कलेक्‍शन प्रोडक्‍ट सेट कलेक्टीफी-360 (CollectiPhi-360) लॉन्‍च किया है। यह बैंकों और नॉन-बैंकिंग फाइनेंस कंपनियों (एनबीएफसी) को कई पेमेंट चैनल पर अपने कलेक्‍शन को कुशलता से और लागत प्रभावी ढंग से मैनेज करने में सक्षम बनाएगा। यह नया प्रोडक्ट अलग अलग इंडस्‍ट्री और उत्पादों में लोन देने वाली संस्थाओं की तमाम जरूरतों जैसे को-लेंडिंग, टर्म लोन, बीएनपीएल और सप्‍लाई चेन फाइनेंसिंग को पूरा करेगा।  कलेक्टीफी-360 लेंडर्स को कई पेमेंट चैनल में व्यवस्थित और कुशल प्रक्रियाओं को सुनिश्चित करते हुए ऑटोमेटेड, डोरस्टेप, ऑफलाइन, आंशिक और बल्‍क कलेक्‍शन मैनेज करने में सक्षम बनाता है।

बैंक और एनबीएफसी ज्यादातर मौकों पर कलेक्शन के तरीकों (डिजिटल, कैश और एजेंट से सहायता प्राप्त) और चैनल (फील्ड एजेंट, ऑनलाइन और शाखाओं) के मिक्‍स पर निर्भर रहते हैं या भरोसा करते हैं। अलग अलग हिस्‍सों में होने वाली इस प्रक्रिया में पारंपरिक तरीके से फाइनेंशियल डेटा, ट्रांजेक्शन, या अकाउंट बैलेंस वेरिफाई किया जाता है, वहीं फंड सेटलमेंट में देरी होती है, जिसके चलते अक्सर परिचालन लागत बढ़ जाती है। इसके अलावा, पर्याप्त फंड न होने या टेक्निकल एरर के कारण पेमेंट फेल होने से लेंडर्स पर दबाव बढ़ता है, विशेष रूप से उन क्षेत्रों में जहां बैंकिंग की पहुंच बहुत कम है। जिसके चलते प्रक्रिया में देरी होती है और रेवेन्‍यू का भी नुकसान उठाना पड़ता है।

फाय कॉमर्स के को-फाउंडर और ग्‍लोबल हेड ऑफ सेल्स, तुषार शंकर का कहना है कि वर्तमान में, एनबीएफसी और अन्य लेंडर्स के लिए कलेक्‍शन की प्रक्रिया का एक बड़ा हिस्सा अभी भी मैनुअल है, जिसके चलते परिचालन लागत ज्यादा होती है, डाटा एंट्री में गलतियां होती हैं और सामंजस्य बैठाने में भी देरी होती है। फाय कॉमर्स के कलेक्टीफी-360 का लक्ष्य एक ही प्‍लेटफॉर्म पर ऑटोमेटेड और आंशिक कलेक्‍शन के विकल्पों सहित पेमेंट के कई विकल्पों की पेशकश कर इन चुनौतियों से निपटना है, जिसमें UPI ऑटो पे, फाय  कॉमर्स के मालिकाना उत्पाद स्प्लिट एंड पे, AEPS, PoS ऐप, e-NACH और पेमेंट लिंक्स भी शामिल होंगे।  

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